मंगलवार, 10 मई 2011

आवरण


छायाचित्र- रविकांत साने

विषय-वस्तु पृष्ठ


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प्रथम बात एवं प्रकाश दुलेवाले की कविता


आतंक, श्रद्धा और डर

मेरे शब्द 

त्रिपुरारि कुमार शर्मा की कविताएँ






हिंदुस्तान की हालत
बचपन
ख़ुदकुशी
औरत की तरह
बेबस ज़िन्दगी
क्षितिज के उस पार
मृत्यु
क्योंकि
परिवर्तन
शाम की साजिश
स्टोर रूम
सोचता हूँ
सोया हुआ शायर
सम्बन्ध
मेरा दुःख
टूटी हुई नज़र
अलविदा  

आस्तिक बाजपेयी की कविताएँ




ऐसा ही होता है
देशभक्ति
ख़ुशी
मंसूर के लिए
समय

हेमधर शर्मा की कविताएँ



मध्य वर्ग का आदमी
बिना हथियारों की लड़ाई
उदासीनता
जीवन-संध्या

उमेश यादव की दो कविताएँ और सूरज की एक कविता



पत्थरों के पास
संकरी गलियां

मेरे खरीददार

रॉक डाल्टन एवं प्रभात रंजन की कविताएँ



तुम्हारी तरह
आज़ादी के आंकड़े
२७ साल
कविता से
यकीन

बार-बार लौटा हूँ
दूर कौन गुनगुनाता है

महेश वर्मा की कविताएँ



इसी के आलोक में
फिर लौटकर
यहाँ
कुर्सी
पीठ
रात
कमीज़
छींक

अर्पिता श्रीवास्तव की कविताएँ




डूबना
चाहना
प्रतीक्षा
अनुभूति 

रवि बुले की चार कविताएँ एवं रुस्तम की एक कविता



खोजो
शामिल है मेरे सपनों में तुम्हारे भी
मेरा-तुम्हारा दुःख
तुम होगी जहां

प्रेम की भूमि पर हमने घृणा को भी पलते देखा है

भीतरी आवरण पृष्ठों पर इस बार है अशोक कुमार पाण्डेय एवं निर्मला पुतुल की कविता...


मई दिवस पर जनगीत 
इतनी दूर मत ब्याहना बाबा 

सोमवार, 9 मई 2011

फाल्गुन विश्व का मई अंक


इस बार का अंक 'कविता विशेषांक' के रूप में प्रकाशित हुआ है
इस अंक में शामिल कवि हैं

प्रकाश दुलेवाले
त्रिपुरारी शर्मा
आस्तिक बाजपेयी
हेमधर शर्मा
उमेश यादव
सूरज
रॉक डाल्टन
महेश वर्मा
अर्पिता श्रीवास्तव
रवि बुले
प्रभात रंजन
रुस्तम